बर्लिन: जलवायु परिवर्तन का असर अब दुनिया में नजर आने लगा है। यूरोप के कई देश इन दिनों भीषण बाढ़ का सामना कर रहे हैं। सबसे ज्यादा असर जर्मनी, बेल्जियम, स्विट्जरलैंड और नीदरलैंड्स में दिखाई दे रहा है।
लगातार हो रही बारिश के बाद आई बाढ़ से रविवार सुबह तक यहां 180 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। 1500 से ज्यादा लोग लापता हैं। हजारों घर कूड़े के ढेर में तब्दील हो गए हैं। लोगों के पास रहने के लिए घर नहीं हैं। सब किसी तरह अपनी जान बचाने में लगे हुए हैं। कई नदियां अपनी धारा बदलकर दूसरी दिशा में बहने लगी हैं। जर्मनी के मौसम विभाग के प्रवक्ता उवे किर्सचे ने बताया कि 1000 साल में ऐसा पहले कभी नहीं देखा गया।
सबसे ज्यादा असर पश्चिमी जर्मनी के राइनलैंड-पैलेटिनेट राज्य में पड़ा है। यहां 110 लोगों की मौत हुई है। जर्मनी के सबसे ज्यादा सघन आबादी वाले उत्तरी राइन वेस्टफेलिया राज्य में 45 लोगों की मौत हो चुकी है। इनमें अग्निशमन दल के कर्मचारी भी शामिल हैं।
बेल्जियम में 27 लोगों की मौत हुई है। जर्मनी की चांसलर एंजेला मर्केल बाढ़ से तहस-नहस हो चुके राज्यों का दौरा कर रही हैं। आइए 20 फोटो के जरिए यूरोप में इस वक्त के हालातों को समझने की कोशिश करते हैं।पश्चिमी जर्मनी के गांव एरफास्ट-ब्लेसेम में लैंडस्लाइड से एक बड़ा सिंकहोल बन गया। बचावकर्मी इस गड्ढे में लोगों की खोज कर रहे हैं।
बाढ़ का सबसे बुरा प्रभाव पश्चिमी जर्मनी के राइनलैंड-पैलेटिनेट राज्य में पड़ा है। यहां 110 लोगों की मौत अब तक हो चुकी है।
जर्मनी में भारी बारिश के बाद कई नदियों ने अपना रास्ता बदल दिया। बारिश रुकने पर जब पानी कम हुआ सड़कों पर कूड़ा इकट्ठा हो गया।
पश्चिमी जर्मनी के एक गांव में लैंडस्लाइड के बाद बड़ा गड्ढा बन गया और सड़कों पर खड़ी गाड़ियां उसमें समा गईं।
जर्मनी के एरफास्ट-ब्लेसेम शहर में इतनी बारिश हुई की कब्रिस्तान में बनीं सारी कब्रें भी पानी में डूब गईं।
एरफास्ट-ब्लेसेम शहर में जर्मनी की आर्म्ड फोर्स बुंदेसवेहर बाढ़ में फंसी कारों से लोगों को रेस्क्यू करते हुए।
जर्मनी के क्रेजबर्ग शहर में ट्रेन के अंदर बारिश का गंदी पानी और कीचड़ भर गया।
जर्मनी के ब्लेसेम शहर में लैंडस्लाइड के बाद घर बर्बाद हो गया। यहां खड़ी कार को नुकसान पहुंचा।
बारिश थमने के बाद कई घरों के आसपास कचरे का ढेर जमा हो गया। अब इससे आने वाली बदबू से लोगों में बीमारियां फैलने का खतरा है।
बारिश और बाढ़ से मची तबाही के बाद हजारों घर तबाह हो गए हैं। लोगों के पास रहने के लिए छत नहीं बची है।
यूरोप में लोग शौकिया तौर पर नदियों के किनारे लकड़ी के घर बनवाते हैं। ऐसे घरों को भारी नुकसान पहुंचा है।
जर्मनी के वालपोर्जहेम शहर में लैंडस्लाइड के बाद पूरा घर ही जमीन के अंदर समा गया।
जर्मनी के शुल्ड गांव में बाढ़ से हुई तबाही के बाद जेसीबी से मलबा साफ करता कर्मचारी।
स्विट्जरलैंड के सैक्सन शहर में सड़कों पर कमर जितना पानी भर गया। यहां रहने वाले लोगों को दूसरे फ्लोंर पर रहना पड़ रहा है।
बेल्जियम के पुर्गेटरी शहर में मैदान मे खड़ी कारें बाढ़ के कारण बर्बाद हो गईं।
जर्मनी के शुल्ड गांव में बाढ़ से तबाही के बाद घर से कचरा बाहर करता एक परिवार।
स्विट्जरलैंड के सैक्सन शहर में बारिश-बाढ़ से क्षतिग्रस्त घर से कीचड़ और मिट्टी निकालता परिवार।
पश्चिमी जर्मनी के राइनलैंड-पैलेटिनेट राज्य के अहरवीलर इलाके में घर से कीचड़ निकालते एक परिवार के 3 सदस्य।
अहरवीलर इलाके में बुरी तरह से तहस-नहस घर को साफ करती महिला।
पश्चिमी जर्मनी के एक स्कूल में बाढ़ प्रभावित इलाकों में बंटने के लिए रखी गई राहत सामग्री।