नई दिल्लीः तियानजिन में चल रहे एससीओ समिट में दुनिया भर के बड़े-बड़े नेता शामिल हुए. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन जैसे दिग्गज एक मंच पर नजर आए. लेकिन इंटरनेट की नजरें जिस पर अटक गईं, वो थे पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ. उन्होंने कुछ ऐसा कर दिया, जो सोशल मीडिया यूजर्स की नजरों में आ गया और लोग मजाक उड़ाने लगे.
दरअसल हुआ कुछ यूं कि समिट की औपचारिक फोटो सेशन के बाद जैसे ही रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और शी जिनपिंग साथ-साथ बाहर निकलते हैं. माहौल गंभीर है, नेता संयमित अंदाज में आगे बढ़ रहे हैं. तभी पीछे से अचानक पाकिस्तान के पीएम शहबाज शरीफ़ फास्ट फॉरवर्ड मोड में आते हैं और पुतिन की ओर हाथ बढ़ा देते हैं. सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल होते ही लोग मजे लेने लगे. एक यूजर ने लिखा – बाकी नेता गरिमा के साथ खड़े रहे, लेकिन पाकिस्तान पीएम दौड़ते हुए पुतिन से हाथ मिलाने गए…पथेटिक अटेंशन सीकर विहैवियर. शी जिनपिंग ने तो उन्हें साफ नजरअंदाज कर दिया.
क्लिप में साफ दिख रहा है कि जैसे ही पुतिन और शी जिनपिंग साथ-साथ चलते हैं, शहबाज पीछे से आकर अचानक हाथ आगे बढ़ा देते हैं. दूसरे ने तंज कसा, ये SCO समिट है या शहबाज का फैन मीट? तीसरे यूजर ने मजाक उड़ाते हुए लिखा- भाई, इतना उतावला तो कॉलेज का फ्रेशर भी नहीं होता सीनियर्स से हाथ मिलाने के लिए. जैसे ही वीडियो वायरल हुआ, मीमर्स का दिन बन गया. किसी ने फोटोशॉप करके शहबाज को उसेन बोल्ट की तरह पुतिन की तरफ भागते दिखाया. किसी ने लिखा – जब आपको लगता है कि पुतिन आपकी तरफ देख रहे हैं लेकिन असल में वो शी जिनपिंग से बातें कर रहे हैं. एक और मजेदार मीम – शहबाज़ दौड़ते हुए और नीचे कैप्शन – बचपन से ही क्रश से मिलने में जल्दी रहती थी.
ये पहली बार नहीं है जब शरीफ सोशल मीडिया पर ट्रोल हुए हों. 2022 के एससीओ समिट में उज्बेकिस्तान में पुतिन के साथ उनकी मीटिंग का एक वीडियो खूब वायरल हुआ था. उस वक्त शरीफ बार-बार अपनी ट्रांसलेशन हेडसेट संभाल नहीं पा रहे थे. पुतिन तक हंस पड़े थे, जबकि शरीफ परेशान होकर कह रहे थे, क्या कोई मेरी मदद कर सकता है. उस वक्त भी मीमर्स ने खूब मजे लिए थे. अब एक बार फिर वही कहानी दोहराई जा रही है. नेटिजन्स का कहना है कि हर बार शरीफ समिट में सुर्खियां कूटनीति से नहीं, बल्कि अपनी हरकतों से बटोरते हैं.
राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि शहबाज शरीफ अक्सर अंतरराष्ट्रीय मंचों पर ओवर एक्साइटेड दिखाई देते हैं. शायद वजह ये है कि पाकिस्तान कूटनीति में लगातार बैकफुट पर है और शरीफ किसी भी कीमत पर स्पॉटलाइट हासिल करना चाहते हैं. लेकिन उनकी ये कोशिश अक्सर डिप्लोमैटिक सेंस की बजाय क्लाउन शो जैसी लगती है. नेटिजन्स भी यही कहते हैं – बाकी नेता जहां गंभीर मुद्दों पर ध्यान दे रहे थे, पाकिस्तान पीएम का ध्यान सिर्फ सेल्फ-प्रमोशन पर था. मजाक अपनी जगह है, लेकिन ये घटनाएं पाकिस्तान की अंतरराष्ट्रीय राजनीति में गिरती साख की भी झलक देती हैं. जब बाकी नेता संयम और गरिमा से पेश आते हैं, शहबाज शरीफ का अटेंशन सीकर नजरिया मजाक का विषय बन जाता है.