उत्तरकाशी। चारधाम यात्रा के बेहतरीन रहने की उम्मीद है। गंगोत्री-यमुनोत्री धाम के निकट इसके संकेत अभी से मिलने लगे हैं। उत्तरकाशी की गंगा व यमुना घाटी में 14 मई से लेकर 25 जून तक 50 प्रतिशत होटल व धर्मशालाएं बुक हो चुकी हैं। होटल एसोसिएशन के अध्यक्ष शैलेंद्र मटूड़ा का कहना है कि जिस तरह से इस बार यात्रियों की बुकिंग और बुकिंग के लिए पूछताछ की जा रही है, उससे पूरी उम्मीद है कि कोरोना काल में ठप पड़ा व्यवसाय पटरी पर लौट आएगा। इस बार गंगोत्री और यमुनोत्री धाम के कपाट अक्षय तृतीय पर्व पर 14 मई को खोले जाने हैं।
2012 और फिर 2013 की आपदा के बाद चारधाम यात्रा बुरी तरह से प्रभावित हुई थी। 2014 व 2015 में गंगोत्री-यमुनोत्री बेहद कम यात्री पहुंचे। लेकिन, 2016 से लेकर 2019 तक यात्रा अच्छी चली। इससे आपदा के बाद का सन्नाटा तो टूटा ही, व्यवसायियों को कुछ राहत भी मिली, लेकिन 2020 में कोरोना संक्रमण के कारण यात्रा बुरी तरह प्रभावित रही। लॉकडाउन के कारण पीक सीजन में होटलों पर ताले लटके रहे। इससे चारधाम यात्रा और पर्यटन पर निर्भर पहाड़ की आर्थिकी खासी प्रभावित हुई। लेकिन, 2021 का साल उम्मीदें लेकर आया है। इस बार चारधाम यात्रा अच्छी चलने की उम्मीद है। क्योंकि, होटल-धर्मशालाएं अभी से बुक होने लगे हैं।
जिले में गंगोत्री और यमुनोत्री दो प्रमुख धाम होने के कारण यहां के होटल व अन्य व्यवसायियों की आर्थिकी का प्रमुख जरिया चारधाम यात्रा और पर्यटन ही है। जिले की गंगा घाटी में 520 और यमुना घाटी में करीब 400 होटल हैं। कोरोना के कारण 2020 में इनका कारोबार बुरी तरह से प्रभावित रहा। होटल व्यवसायी विजेंद्र नौटियाल कहते हैं कि एक वर्ष यात्रा सीजन के दौरान रिकार्ड यात्रियों के पहुंचने की उम्मीद है।
कारण यह कि तेजी से यात्रियों की बुकिंग हो रही है। वे कहते है कि 14 मई से लेकर 25 जून तक के लिए 50 प्रतिशत होटल पैक हो चुके हैं। बुकिंग लगातार जारी है। होटल व्यवसायियों ने अपने प्रतिष्ठानों की रंगाई-पुताई व अन्य मरम्मत का कार्य भी शुरू कर दिया है।